सोनिया गाँधी के जयपुर दौरे से पहले सरकार को याद आई अतिवृष्टि परेशान परिवारो की
30 अगस्त जयपुर
काग्रेस अध्यक्ष सोनिया गाँधी के बाडमेर दौरे के बाद अचानक जयपुर के अतिवृष्टि इलाको का दौरा शामिल होने से गहलोत सरकार और जिला प्रशासन के लिए मानसम्मान बचाने की चुनौती खडी हो गई है. आनन फानन में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत एक सप्ताह बाद अतिवृष्टि वाली कच्ची बस्तियो का दौरा करने पहुचे. वही जिला प्रशासन को भी बरसात के कारण कई परिवारो का हुआ नुकसान दिखाई देने लगा है.
उदाहरण एक
शहर की बस्सी सीतारामपुरा निवासी श्रीमती नजमा की पोतियो की शादी का सामान अतिवृष्टि में बह गया था इस डर के चलते कि कही काग्रेस का परमपरागत वोट बैंक मुस्लिम इलाको की बेरुखी की शिकायत सोनिया गाँधी को न कर दे इसी के चलते जिला प्रशासन ने दौड दौड कर नजमा शादी का आवश्यक सामान की मदद उपलब्ध करवा दी.
उदाहरण दो
सोनिया गाँधी के जयपुर दौरे ने नेहरू नगर नाले के पास स्थित प्रेम कॉलोनी निवासी ऑटो रिक्शा चालक अल्लारक्खा की किस्मत भी खोल दी. जिला प्रशासन ने उसे 15 हजार रुपये की सहायता दी है ऑटो रिक्शा चालक अल्लारक्खा के ऑटो रिक्शा अतिवृष्टि में बहकर क्षतिग्रस्त हो गया था।
उदाहरण तीन
अतिवृष्टि से प्रभावित क्षेत्रों में भले ही देरी से सही लेकिन अब प्रभावित लोगों को फूड पैकेट्स का वितरण शुरु हो गया है जिला प्रशासन ने बुधवार को प्रातः 9 हजार एवं सायंकाल 6 हजार फूड पैकेट्स वितरित किये गये। राहत शिविरों में रह रहे व्यक्तियों को पेयजल, भोजन, चिकित्सा इत्यादि सभी सुविधायें सुलभ करायी जा रही हैं।
जिला कलेक्टर नवीन महाजन ने बताया कि अतिवृष्टि से प्रभावित क्षेत्रों में जमा पानी की निकासी का कार्य लगभग पूर्ण हो चुका है। बुधवार को मदरामपुरा, जवाहर नगर कच्ची, गिरधारीपुरा एवं बगरू में जमा पानी को निकालने की कार्यवाही की गयी।
आखिर काग्रेस के अन्दर खेल क्या हो रहा है.
असल में काँग्रेस में गहलोत विरोधी खेमे में अब मुस्लिम तबके के कई नेता भी साथ हो लिए है. मुख्यमंत्री के कुछ समय पहले मीडिया में राजस्थान में बाढ़ नही अतिवृष्टि के बयानो से हकीकत दिखाए जाने के लिए गहलोत विरोधी खेमा फिर सक्रिय हो गया. उसी वक्त राज्यपाल के अतिवृष्टि इलाको के दौरे और मीडिया में दिए बयानो का आधार बना केंद्र स्तर पर सोनिया गांधी को हकीकत दिखाए जाने का मैसेज भिजवाया गया. इसी के चलते सोनिया गाँधी के लिए योजनकर्ताओ ने जयपुर की कच्ची बस्तियो का दौरा तय किया गया.गहलोत का बुधवार को मदरामपुरा और अन्य कच्ची बस्तियो का दौरा,दौरे से पहले रातो रात सडक बनना यही सब डेमेज कट्रोल का हिस्सा माना जा रहा है
मीडिया को विज्ञापनो की तोहफा
जयपुर ही नही बाडमेंर के कई अखबारो और राज्य के कुछ टीवी चैनलो को सोनिया गाँधी से दौरे से ठीक पहले विज्ञापनो का तोफा दे दिया गया.वैसे तो नगर पालिका और शहरी विकास विभाग की हालत ज्यादा अच्छी नही है लेकिन सोनिया गाँधी का स्वागत करने के लिए सभी अखबारो में आकर्षक विज्ञापन जारी किए गए है. इन्ही को लेकर राजनीतिक गलियारो में अशोक गहलोत का मैसेज देने के तरीके की चर्चा जोरो पर है कही एक बार फिर अशोक गहलोत सोनिया गाँधी को हकीकत से दूर रखने में कामियाब तो नही हो जाएगे